सीएम हाउस पर 24 घंटे में दूसरी बार विधायक दल की बैठक, मंत्री अकील बोले- भाजपा वाले बिना पानी की मछली जैसे छटपटा रहे

भोपाल के होटल मैरियट और सीएम हाउस से, जहां कांग्रेस की रणनीति तय हो रही है. मुख्यमंत्री कमलनाथ के आवास पर 24 घंटे में दूसरी बार सोमवार को विधायक दल की बैठक बुलाई गई। इसके लिए विधायक और मंत्री सीएम आवास पर पहुंच गए। दिल्ली से आए जो विधायक मैरियट होटल में हैं, वह सभी सीएम हाउस पहुंचे। वहीं, मंत्री आरिफ अकील ने कहा कि राज्यपाल सीधे आदमी हैं। उन्हें भाजपा वाले परेशान कर रहे हैं। भाजपा द्वारा अपने विधायकों को वापस दिल्ली भेजने के बारे में उन्होंने कहा- भाजपा वाले बिना पानी के मछली जैसे छटपटा रहे हैं। उनका वश चले तो वह विधायकों के घर में ही खाकर सो जाएं।


इससे पहले, रविवार को जयपुर से भोपाल लौटे कांग्रेस के 85 विधायक होटल मैरियट में ठहरे। सोमवार सुबह दो बसों से विधानसभा पहुंचे। कुछ देर बाद विधानसभा की कार्यवाही स्थगित हो गई। सभी विधायक बसों से होटल लौट आए। हालांकि, सुबह विधानसभा रवाना होने से पहले मंत्री लखन घनघोरिया ने फ्लोर टेस्ट की संभावना से इनकार किया था।


मंत्री भनोट बोले- सरकार सुरक्षित, पांच साल चलेगी


सोमवार सुबह विधानसभा रवाना होने से पहले मंत्री तरुण भनोट ने मीडिया से कहा, “फ्लोर टेस्ट का सवाल ही नहीं उठता। आखिर, विधानसभा चलाने की जिम्मेदारी तो विधानसभा अध्यक्ष की ही होती है। भाजपा ने हमारे 16 विधायकों को बंधक बनाकर रखा है। वो जोड़तोड़ की राजनीति कर रही है। आज विधानसभा में कांग्रेस के सभी विधायक मौजूद रहेंगे। हमारी सरकार 5 साल का कार्यकाल पूरा करेगी। उसे कोई खतरा नहीं है।”


होटल में जाने के लिए पहचान-पत्र जरूरी


होटल मैरियट के बाहर और अंदर कड़े सुरक्षा प्रबंध किए गए हैं। किसी भी अनजान व्यक्ति को होटल के अंदर जाने की इजाजत नहीं है। सिर्फ उन्हीं लोगों को प्रवेश की अनुमति है, जिनके पास पहचान-पत्र हैं। 


रविवार को क्या हुआ?
रविवार को विधानसभा की कार्यसूची जारी होने के बाद सियासी हलचल बढ़ गई थी। कार्यसूची में सिर्फ राज्यपाल के अभिभाषण और धन्यवाद ज्ञापन का जिक्र किया गया। इसे लेकर राज्यपाल नाराज भी बताए गए। उन्होंने मुख्यमंत्री को पत्र लिखा। इसमें कहा गया कि विश्वास मत के दौरान मतों का विभाजन हाथ उठाकर किया जाए। कमलनाथ और टंडन की राजभवन में मुलाकात भी हुई। बाहर निकलने पर कमलनाथ ने कहा था, “फ्लोर टेस्ट पर फैसला स्पीकर एनपी प्रजापति लेंगे। मैंने राज्यपाल को बता दिया है कि मैं फ्लोर टेस्ट के लिए तैयार हूं, पर पहले बेंगलुरु में बंधक बनाए गए विधायकों को रिहा किया जाए।’’ बहरहाल, सोमवार को फ्लोर टेस्ट नहीं हो पाया।